
नईदिल्ली,।पीयूष पुरोहित, जगदीप धनखड़ के इस्तीफे के बाद देश का अगला उपराष्ट्रपति कौन होगा, यह जानने के लिए राजनैतिक गलियरों में कई लोगों में नामों की चर्चा हो रही है। उपराष्ट्रपति का चुनाव सर्वसम्मति से होगा या फिर सत्ता दल और विपक्ष अपने अपने उम्मीदवार मैदान में उतरेंगे। जहाँ तक संख्या बल की बात है। सत्ता रूढ़ एनडीए मजबूत स्थिति में है। आइये जानते है कि राजनैतिक गलियरों में किन नामों को लेकर चर्चाएं हैं –
नीतीश कुमार: बिहार के मुख्यमंत्री और जदयू के नेता। उनकी राजनीतिक अनुभव और बिहार में उनकी लोकप्रियता को देखते हुए, उन्हें एक मजबूत उम्मीदवार माना जा रहा है।

हरिवंश नारायण सिंह: जनता दल (यूनाइटेड) के नेता और राज्यसभा के उपसभापति, जो वर्तमान में राज्यसभा के सभापति के रूप में कार्य कर रहे हैं। उनकी राजनीतिक अनुभव और राज्यसभा में उनकी भूमिका को देखते हुए, उन्हें एक मजबूत उम्मीदवार माना जा रहा है।
मनोज सिन्हा: जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल और भाजपा के वरिष्ठ नेता। उनकी प्रशासनिक अनुभव और राजनीतिक पृष्ठभूमि को देखते हुए, उन्हें एक संभावित उम्मीदवार के रूप में देखा जा रहा है।

जेपी नड्डा: भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष। उनकी पार्टी में उनकी भूमिका और राजनीतिक अनुभव को देखते हुए, उन्हें एक संभावित उम्मीदवार के रूप में देखा जा रहा है।
राजनाथ सिंह: भाजपा के वरिष्ठ नेता और गृह मंत्री। उनकी राजनीतिक अनुभव और भाजपा में उनकी भूमिका को देखते हुए, उन्हें एक संभावित उम्मीदवार के रूप में देखा जा रहा है।

विपक्ष की ओर से संभावित उम्मीदवार
मार्गेट अल्वा: कांग्रेस नेता और पूर्व राज्यसभा सांसद। उनकी राजनीतिक अनुभव और कांग्रेस में उनकी भूमिका को देखते हुए, उन्हें एक संभावित उम्मीदवार के रूप में देखा जा रहा है।
उपराष्ट्रपति चुनाव की प्रक्रिया-उपराष्ट्रपति का चुनाव संसद के दोनों सदनों के सदस्य करते हैं। चुनाव आयोग जल्द ही नए उपराष्ट्रपति के चुनाव की प्रक्रिया शुरू कर सकता है। उम्मीदवारों को अपने नामांकन पत्र दाखिल करने होंगे और चुनाव आयोग द्वारा निर्धारित प्रक्रिया का पालन करना होगा।
राजनीतिक समीकरण-उपराष्ट्रपति चुनाव में राजनीतिक समीकरण महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। भाजपा-एनडीए और विपक्ष दोनों की रणनीति और उम्मीदवार की पसंद चुनाव के परिणाम को प्रभावित करेगी। धनकड़ इस्तीफे बाद अब देखना यह है कि कौन देश का अगला उपराष्ट्रपति बनता है।