
नईदिल्ली। फिलिस्तीन में युद्ध, भुखमरी और मानवीय त्रासदी के बीच भारत से मदद की अपील की जा रही है। फिलिस्तीन के राष्ट्रपति महमूद अब्बास ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चिट्ठी लिखकर हस्तक्षेप की अपील की है। फिलिस्तीन के राजदूत अब्दुल्ला एम अबु शावेश ने कहा कि भारत हमेशा फिलिस्तीन का अंतरराष्ट्रीय मंचों पर समर्थक रहा है और अब जब गाजा मानवीय संकट की चपेट में है तो वो चाहता है कि भारत अपने प्रभाव का इस्तेमाल इजरायल पर दबाव बनाने के लिए करे।
फिलिस्तीन की अपील:
- युद्धविराम समझौता: फिलिस्तीन चाहता है कि भारत युद्धविराम समझौते के लिए मध्यस्थता करे।
- मानवीय सहायता: फिलिस्तीन को मानवीय सहायता प्रदान करने के लिए भारत ने 30 टन की पहली खेप भेजी है।
- इजरायल पर दबाव: फिलिस्तीन चाहता है कि भारत अपने प्रभाव का इस्तेमाल इजरायल पर दबाव बनाने के लिए करे ताकि गाजा में मानवीय मदद पहुंच सके।
भारत की फिलिस्तीन नीति:
- दो-राज्य समाधान: भारत ने हमेशा फिलिस्तीन मुद्दे के समाधान के लिए दो-राज्य सिद्धांत का समर्थन किया है।
- मानवीय सहायता: भारत ने फिलिस्तीन को मानवीय सहायता प्रदान करने के लिए कई कदम उठाए हैं।
- मध्यस्थता: फिलिस्तीन ने भारत से मध्यस्थता की अपील की है, और भारत के राजदूत ने इस मुद्दे पर भारत की भूमिका की सराहना की है।
संयुक्त राष्ट्र में भारत की भूमिका:
पूर्ण सदस्यता: उन्होंने फिलिस्तीन के लिए संयुक्त राष्ट्र में पूर्ण सदस्यता की वकालत की है
दो-राज्य समाधान: संयुक्त राष्ट्र में भारत की स्थायी प्रतिनिधि रुचिरा कंबोज ने भी दो-राज्य समाधान का समर्थन किया है।